अल्पसंख्यकों के शैक्षिक उन्नयन के लिए सदैव प्रयासरत रहें : जीनगर

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राजसमंद। कलक्ट्रेट सभागार में आयोजित 15 सूत्री कार्यक्रम की समीक्षा बैठक को सम्बोधित करते जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी गोपाल जीनगर। फोटो-प्रहलाद पालीवाल

राजसमंद, चेतना भाट। जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी गोपाल जीनगर ने कहा है कि हमें अल्संख्यकों के शैक्षिक उन्नयन के लिए सदैव प्रयासरत रहना चाहिए। इसके लिए सरकार द्वारा अल्पसंख्यकों के कल्याणार्थ संचालित कल्याणकारी योजनाओं के व्यापक प्रचार-प्रसार की जरूरत है। जीनगर कलक्ट्रेट सभागार में आयोजित 15 सूत्री कार्यक्रम की समीक्षा बैठक में उपस्थित अधिकारियों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंंने कहा कि अल्पसंख्यक वर्ग के सामाजिक, आर्थिक एवं शैक्षणिक विकास के लिए 15 सूत्री कार्यक्रम का क्रियान्वयन किया जा रहा है। उन्होंंने कहा कि छात्रवृति योजना के अन्तर्गत अल्पसंख्यक समुदाय के छात्र-छात्राओं के लिए प्री-मैट्रिक छात्रवृति, पोस्ट मैट्रिक तथा मैरिट कम मीन्स छात्रवृति योजनाओं का संचालन किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि अनुप्रति योजना के तहत प्रतियोगिता परीक्षा पास करने पर प्रोत्साहन राशि, 12वीं में 60 प्रतिशत अंक प्राप्त कर राज्य के इंजीनियरिग एवं मेडिकल कॉलेज में प्रवेशा हेतु प्रोत्साहन राशिा प्रदान की जाती है। इसी के साथ नया सवेरा योजना के तहत प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए चयनित कोंचिग संस्थानों में नि:शुल्क कोॅचिग तथा नई रोशनी के तहत अल्पसंख्यक वर्ग की महिलाओं को सशक्त व आत्मनिर्भर बनाने का कार्य किया जा रहा है। शैक्षणिक ऋण, व्यवसायिक ऋण तथा एक मुश्त योजना में लक्ष्यानुरूप कार्य किया जा रहा है। मदरसा शिक्षण योजना के तहत मदरसों में दीनी तालीमी के साथ-साथ विद्यालययी पाठ्यक्रम की शिक्षा के लिये जिले में 9 मदरसों में ऑनलाईन शिक्षण कार्य हो रहा है। बैठक में उप निदेशक महिला एवं बाल विकास शांता मेघवाल, पुलिस वृताधिकारी गोपालसिंह भाटी, उप निदेशक पशुपालन डॉ पुरूषोतम, शिक्षा विभाग से महेन्द्र सिंह झाला, श्रम निरीक्षक भैरूसिंह मीणा, नगरपरिषद पार्षद अख्तर खान, मदरसा एमपीटी संघ के जिलाध्यक्ष मो हनीफ शेख उपस्थित थे।

शीतकालीन अवकाश में अत्यावश्यक मामलों के निपटान के लिए मजिस्ट्रेट नियुक्त

राजसमंद। राजस्थान उच्च न्यायालय जोधपुर के आदेशानुसार अधीनस्थ न्यायालयों में 25 से 31 दिसम्बर तक शीतकालीन अवकाश घोषित किया है। जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने एक आदेश जारी कर राजसमन्द सैशन खण्ड में अवकाश के दौरान जमानत एवं निरोध अवधि संबंधित आवश्यक न्यायिक एवं सिविल मामलों को निपटाने के लिए न्यायिक अधिकारियों को नियुक्त किया है। आदेश के अनुसार सिविल न्यायाधीश एवं न्यायिक मजिस्ट्रेट वैदेही सिंह चौहान को 25 से 29 दिसम्बर तक के लिए तथा अंकित परिहार सिविल न्यायाधीश एवं न्यायिक मजिस्ट्रेट रेलमगरा को 30 एवं 31 दिसम्बर तक के लिए अधिकृत किया गया है। जिला एवं सेशन न्यायालय, विशिष्ठ न्यायालय, पोक्सो एक्ट, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) प्रकरण, अपर जिला एवं सेशन न्यायालय इस अवधि में बंद रहेंगे। जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने एक आदेश जारी कर इस अवकाश की अवधि में पूरे राजसमन्द न्याय क्षेत्र के सैशन खण्ड के ऐसेे आवश्यक आवेदन, आवश्यक फौजदारी व दीवानी मामले जो जिला एवं सेशन न्यायालय राजसमन्द, विशिष्ठ न्यायालयए पोक्सो एक्ट, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) प्रकरण, अपर जिला एवं सेशन न्यायालय नाथद्वारा व अपर जिला एवं सेशन न्यायालय राजसमन्द के समक्ष पेश किए जाएंगे या लम्बित हैं उन्हें विधि अनुसार सुनने एवं निपटाए जाने के लिए वरिष्ठ सिविल न्यायाधीश एवं मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट दिनेश कुमार जलुथरिया को अधिकृत किया गया है। जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने बताया कि अवकाश अवधि में विशिष्ट न्यायालय, एनडीपीएस, सीबीआई प्रकरण, भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम प्रकरण एवं पोक्सो एक्ट प्रकरण न्यायालय भी बंद रहेंगे लेकिन इन विशिष्ठ न्यायालयों के पीठासील अधिकारीगण अवकाश अवधि में कम से कम दो बार न्यायालयों में आवश्यक कार्य के लिए बैठेंगे।

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